Thursday, April 10, 2014

APPEAL FOR SCRIPT BANK OF DRAMA BY SUTANUKA SOCIETY (नाटकों के स्क्रिप्ट बैंक हेतु सह्योग)




नाटकों के स्क्रिप्ट बैंक हेतु सह्योग

मित्रों, नमस्कार ! 

           
गत मार्च महिने में सुतनुका सोसाइटी फॉर परफॉर्मिंग आर्ट्स द्वारा संगोष्ठी आयोजित की गई जिसका विषय रहा वर्तमान परिदृश्य में रंगमंच चुनौतियां और विकल्प 
      इस गोष्ठी में आदरणीय डॉ. सच्चिदानंद जोशी, पद्मश्री डॉ. सुरेन्द्र दूबे, राजकमल नायक, जलील रिज़वी और सुभाष मिश्रा ने अपने विचार व्यक्त किए। गोष्ठी में मौजूद रंगकर्मियों ने भी अपने विचार और दिक़्कतें सभा के समक्ष रखीं जिसमें नए नाटकों की कमी की बात सामने आई जबकि कुछ रंगकर्मियों का कहना था कि नए नाटकों की कमी नहीं है बल्कि उन्हें खेलने वालों की कमी है। 

       गोष्ठी की सफ़लता यह रही कि इस सब के बीच एक विचार सामने आया कि सुतनुका सोसाइटी को एक स्क्रिप्ट बैंक तैयार करना चाहिए ताकि जिन रंगकर्मियों को नए नाटक नहीं मिल पा रहे हैं उन्हें स्क्रिप्ट उपलब्ध हो सके और जिन नाटककारों के नाटक, नाट्य निर्देशकों या संस्थाओं तक पहुंच ही नहीं पाते उन्हें निर्देशक और पाठक मिल सकें ताकि उन्हें मंचित किया जा सके। यदि नाटक में मंचन की दृष्टि से कुछ व्यवहारिक दिक्कतें हैं तो निर्देशक और नाटककार मिलकर उन्हें दूर कर सकें और नाटक की ज़्यादा से ज़्यादा प्रस्तुति हो सकें। 

        प्रयास यह है कि नाटककार और निर्देशक के बीच संवाद का सिलसिला शुरू हो सके। सुतनुका सोसाइटी ने यह कार्य करने का बीड़ा उठाया है और आप सभी से आग्रह है कि इस कार्य में सहयोग दें। यदि आप नाटककार हैं, नाटक लिखते हैं और आप चाहते हैं कि आपका नाटक ज़्यादा से ज़्यादा लोगों (नाट्य संस्थाओं और निर्देशकों) तक पहुंचे, तो कृपया हमें अपने नाटक की सूचना दें, और नाटक की प्रति उपलब्ध कराने का कष्ट करें। साथ ही अपने साथी लेखकों को भी इस बाबत सूचित करें कि अगर उन्होने कोई नाटक लिखा है और वे चाहे तो वे भी अपने नाटक की प्रति उपलब्ध कराएं।  

          स्क्रिप्ट बैंक को समृद्ध बनाने के लिए आपके पास कोई नाटक है तो कृपया उसकी प्रति या फ़ोटोस्टेट उपलब्ध कराने का कष्ट करें। साथ ही कोई सुझाव हो तो वह भी भेंजें।

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